मछलियों के शल्क (Scales of Fishes) त्वचा के अन्दर की सतह डर्मिस (Dermis) से उत्पन्न होते हैं। मछलियों में त्वचा के व्युत्पाद (Derivative) के रूप में शल्क पाये जाते हैं। यह सरीसृप वर्ग के एपिडर्मल स्केल्स (Epidermal scales) से भिन्न होते हैं। मत्स्य वर्ग में ड…
Continue Readingमछली की त्वचा (Skin of fishes) मछली जलीय वातावरण में रहती है। अतः इनकी त्वचा जलीय वातावरण के अनुकूल पायी जाती है। मछली की त्वचा में दो स्तर एपिडर्मिस (Epidermis ) एवं डर्मिस (Dermis) होते हैं। एपिडर्मिस में स्ट्रैटम कॉर्नियम (Stratum corneum) का अभाव होता है।…
Continue Readingकोशिका क्षेत्रों की परीभाषा - Definition of Cell regions कोशिका क्षेत्रों की परीभाषा का मतलब होता है कोशिका के अंदर विभिन्न क्षेत्रों की विशिष्ट स्थानांतरण क्षमता या क्षेत्रों का संगठन। यह कोशिका के भीतरी संरचना और कार्यों को संचालित करने में महत्वपूर्ण भ…
Continue Readingबेटा कोशिका - Son Cell बेटा कोशिका (Son Cell) पेनक्रिएटिक आइलेट्स की एक विशेष प्रकार की कोशिका है जो पेनक्रिएटिक द्वारा उत्पन्न होती है। यह कोशिका मुख्य रूप से इंसुलिन हार्मोन का उत्पादन करने की जिम्मेदारी निभाती है। इंसुलिन हार्मोन शरीर में रक्त में मौजूद ग्…
Continue Readingन्यूक्लियोटाइड कोशिका - Nucleotide Cell न्यूक्लियोटाइड कोशिका एक यूकैरियोटिक कोशिका की एक महत्वपूर्ण संरचनात्मक और कार्यात्मक इकाई होती है। यह कोशिका न्यूक्लियक एसिड (DNA या RNA) को संग्रहित करती है और उसे संरचित रखती है। यह न्यूक्लियोटाइड कोशिका न्यूक्लियस …
Continue Readingयूकैरियोटिक कोशिका - Eukaryotic Cell यूकैरियोटिक कोशिका एक प्रकार की सिंगल-सेल्ड जीवाणु कोशिका होती है, जिसमें एक या एक से अधिक सेल मेम्ब्रेन द्वारा घिरी होती है। यह कोशिका गोलकार होती है और इसमें न्यूक्लियस (नाभिककोश), मिटोकोंड्रिया (जीरक), क्रोमोसोम (जीनेट…
Continue Readingप्रोकरियोटिक कोशिका - Prokaryotic cell प्रोकरियोटिक कोशिकाएं अपार्थिवी पर सबसे पुरानी और सर्वाधिक प्रचलित जीवाणु हैं। इनकी सामान्य संरचना में कोशिका गोलकार होती है जिसमें एक ही कोशिकामण्डल (न्यूक्लीओटाइड) और अनुयायी रसायनिक प्रक्रियाएं होती हैं। प्रोकरियोटिक …
Continue Readingप्रकाश सूक्ष्मदर्शी ( Light Microscope) Comments on Light Microscope and it's types in Hindi प्र काश सूक्ष्मदर्शी एक ऐसा उपकरण है जिसमें साधारण प्रकाश का उपयोग किसी संरचना या वस्तु को देखने के लिये किया जाता है। इसमें एक श्रृंखला में व्यवस्थित कई उभयोत्त…
Continue Readingइलेक्ट्रॉन सूक्ष्मदर्शी ( Electron Microscope) बीसवीं शताब्दी में इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप का विकास जीव विज्ञान ( Biology) एवं भौतिकी ( Physics) के लिए एक बड़ी उपलब्धि थी। इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप द्वारा वस्तु का लाखों गुना आवर्धित ( Magnified) प्रतिबिम्ब बनता…
Continue Readingभूमि या मृदा प्रदूषण ( Soil Pollution) भूमि के विकृत होने को भूमि प्रदूषण कहते हैं, जो मुख्यत: बाहरी पदार्थों के मिलने से होता है। जनसंख्या वृद्धि के साथ-साथ भोजन की आवश्यकता भी दिन-प्रतिदिन बढ़ती जा रही है, जिसके कारण पैदावार को बढ़ाने के लिए तरह-तरह की रास…
Continue Readingपादप रोग ( Plant Disease) पैथोलॉजी या रोग विज्ञान शब्द की उत्पत्ति प्रीक शब्द पैथॉस ( pathos = disease) से हुई है, जिसका सामान्य शाब्दिक अर्थ 'रोग' होता है। वनस्पति विज्ञान की वह शाखा, जिसके अंतर्गत रोगों के लक्षण ( Symptoms), कारकों ( Factors), हेतु…
Continue Readingजैवमण्डल संरक्षी ( Biosphere Reserve in Hindi) जैवमण्डल संरक्षी ऐसे स्थल होते हैं जहाँ पर (पेड़, पौधे व जन्तुओं) प्राकृतिक ( Natural), कम-से-कम प्रभावित ( Minimum disturbed), मानव द्वारा रूपान्तरित ( Man-modified) एवं अवनति प्राप्त ( Degraded) पारिस्थितिक तन…
Continue Readingघुलित ऑक्सीजन ( Dissolved Oxygen: D2O2) जल में घुलित ऑक्सीजन को ही घुलित ऑक्सीजन कहते हैं। दूसरे शब्दों में हम कह सकते हैं कि D2O2, ऑक्सीजन की वह मात्रा है जो जल में मुलित होती है तथा जलीय जीवों को श्वसन क्रिया हेतु उपलब्ध होती है। जल में घुलित ऑक्सीजन की मा…
Continue Readingडी.एन.ए. की सदर्न ब्लॉटिंग विधि ( Sedarn blotting method of DNA) इस विधि को सबसे पहले एडविन एम. सदर्न ( Edwin M. Southern) ने सन् 1975 में बनाया था। इस विधि में वैज्ञानिक मे एक विशेष आनुवंशिक जोन को डी.एन.ए. मिश्रण कॉम्पलेक्स से अलग किया था। इस विधि के द्वार…
Continue Readingप्रोटीन निर्धारण की हिस्टोकेमिकल विधि ( Histochemical method of protein determination) प्रोटीन कोशिकाओं के ढांचा बनाने का कार्य करती है। ये अधिक अणुभार वाले जटिल यौगिक होते हैं जिसमें कार्बन, ऑक्सीजन, हाइड्रोजन, नाइट्रोजन, सल्फर एवं फॉस्फोरस पाये जाते हैं। स…
Continue Readingवर्णमापी का सिद्धान्त ( Theory of Colorimeter) वर्णमापी विश्लेषण एक विशेष प्रकार की सामान्य प्रकाशमापी रासायनिक विश्लेषण ( Photo metric chemical analysis) की स्थिति है। यह विश्लेषण प्रकाश की मात्रा पर आधारित होता है जो कि रंगीन घोल के द्वारा शोषित किया जाता …
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